Somvati Amavasya 2023: साल 2023 की आखिरी सोमवती अमावस्या आज, स्नान-दान से प्रसन्न होंगी लक्ष्मी जी*

    हिंदू धर्म में कार्तिक अमावस्या का दिन बहुत पुण्यफलदायी माना जाता है. इस दिन गंगा में स्नान करने से पिछले और वर्तमान जन्म के पापों से मुक्ति मिल जाती है. कार्तिक अमावस्या इसलिए भी खास है क्योंकि इस दिन दीपावली मनाई जाती है.

    लक्ष्मी पूजा के साथ ही पितरों के लिए धूप-ध्यान और श्राद्ध कर्म करने का पर्व है. इस साल कार्तिक अमावस्या पर सोमवती अमावस्या का संयोग बन रहा है. जानें साल की आखिरी सोमवती अमावस्या की डेट, स्नान-दान मुहूर्त और महत्व.

    *सोमवती अमावस्या 2023 डेट*

    इस साल की आखिरी सोमवती अमावस्या 13 नवंबर 2023, सोमवार को है. वैसे तो सभी अमावस्या बहुत खास होती है लेकिन सोमवार और शनिवार के दिन आने वाली अमावस्या पर शिव पूजा के लिए बहुत खास होती है. ऐसे में कार्तिक माह में सोमवती अमावस्या का संयोग साधक को दोगुना फल प्रदान करेंगा, क्योंकि इस दिन पूजा करने से शिव संग मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होगी.

    *सोमवती अमावस्या 2023 मुहूर्त*

    पंचांग के अनुसार कार्तिक सोमवती अमावस्या 12 नवंबर 2023 को दोपहर 02 बजकर 44 मिनट पर शुरू होगी और अगले दिन 13 नवंबर 2023 को दोपहर 02 बजकर 56 मिनट पर इसका समापन होगा. कार्तिक माह में सूर्योदय से पूर्व स्नान करने का विधान है.

    स्नान मुहूर्त – सुबह 04.56 – सुबह 05.59

    अभिजित मुहूर्त – सुबह 11.44 – दोपहर 12.27

    *कार्तिक माह में सोमवती अमावस्या का महत्व*

    कार्तिक माह की सोमवती अमावस्या के दिन पूजा-पाठ, दान-पुण्य, मंत्र जप के साथ ही ध्यान भी किया जाए तो नकारात्मक विचार दूर हो सकते हैं. अखंड सौभाग्य के लिए स्त्रियां इस दिन व्रत कर गंगा स्नान करती हैं. मान्यता है इससे पति की आयु लंबी होती है. इस दिन पितरों के लिए धूप-ध्यान, श्राद्ध और दान-पुण्य करना चाहिए. भोजन कराकर वस्त्र दान करना चाहिए. शाम के समय पितरों का विदाई होती है. उस समय घर में और घर के बाहर दीपों की रोशनी करें ताकि पूर्वज को अपने लोक लौटने में परेशानी न हो.

    *सोमवती अमावस्या पर दान*

    कार्तिक माह पुण्यदायक है. ऐसे में कार्तिक सोमवती अमावस्या के दिन दान करने से हर तरह के रोग, शोक और दोष से छुटकारा मिलता है. इस दिन खासतौर से ऊनी कपड़ों का दान करना चाहिए. भविष्य, पद्म और मत्स्य पुराण के मुताबिक इस दिन दीपदान के साथ ही अन्न और वस्त्र दान भी करना चाहिए। कार्तिक महीने की अमावस्या पर किया गया हर तरह का दान अक्षय फल देने वाला होता है.