जांगिड़ समाज को नहीं मिलता ओबीसी आरक्षण का फायदा’:जांगिड़ ब्राह्मण महासभा के प्रदेशाध्यक्ष बोले- वर्गीकरण कर जातिगत अनुपात में दिया जाए लाभ

नापासर टाइम्स। अखिल भारतीय जांगिड़ ब्राह्मण महासभा की ओर से जयपुर के विद्याधर नगर स्टेडियम में विश्वकर्मा महाकुंभ का आयोजन किया गया। सामाजिक, राजनीतिक, आर्थिक और शैक्षणिक हितों को लेकर हुए महाकुंभ में प्रदेशभर से बड़ी संख्या में समाज के लोग शामिल हुए।

अखिल भारतीय जांगिड़ ब्राह्मण महासभा के प्रदेश अध्यक्ष संजय हर्षवाल ने कहा- समाज की हमेशा से ही उपेक्षा होती आई है। अब समाज जागृत हो चुका है। हम सब उसी के साथ हैं, जो हमारा साथ देगा, राजस्थान विधानसभा में हमारी आवाज को बुलंद करेगा।

उन्होंने कहा- सभी अलग-अलग समाजों के जो देवी-देवता हैं, भगवान हैं, उस दिन सरकारी और प्राइवेट सेक्टर में अवकाश (छुट्टी) रहता है, लेकिन जांगिड़ समाज के एकमात्र भगवान विश्वकर्मा उनकी जयंती पर इच्छुक अवकाश रहता है। राजस्थान सरकार से हमारी मांग है कि विश्वकर्मा जयंती पर सार्वजनिक अवकाश घोषित किया जाए। जब तक सार्वजनिक अवकाश नहीं होगा, तब तक हम संघर्ष करते रहेंगे।

उन्होंने कहा- सरकार की जो योजनाएं हैं, हमें जयपुर में 50 बीघा जमीन और प्रत्येक जिलों में जमीन आवंटित की जाए, ताकि हमारे समाज के लिए भी हर जगह पर विश्वकर्मा कॉलेज हॉस्पिटल लाइब्रेरी हॉस्टल बनाया जा सके।

जांगिड़ ब्राह्मण महासभा की प्रदेश अध्यक्ष ने कहा- हम लोग ओबीसी में आते हैं, लेकिन ओबीसी आरक्षण का फायदा हमारे समाज बंधुओं को नहीं मिलता। जो प्रभावशाली और बड़ी जातियां हैं, वह सारा का सारा साफ कर देती है तो इस ओबीसी का वर्गीकरण करके हमारे समाज को जातिगत अनुपात में इसका फायदा समाज को दिया जाए, ताकि हमारे बच्चों का भविष्य बन सके।

सादुलशहर से विधायक जगदीश जांगिड़ ने कहा- आज के कार्यक्रम का मुख्य मकसद राजस्थान के विधानसभा में आपका प्रतिनिधित्व हो। महाभारत की लड़ाई की शुरुआत हो चुकी है। इसमें कौन अभिमन्यु होगा, धृतराष्ट्र कौन होगा और भगवान विश्वकर्मा का प्रतिनिधित्व कौन करेगा, यह देखने का मौका आ चुका है। जांगिड़ ने कहा- राजनीति में अधिकार मांगने से नहीं मिलता, छीनना पड़ता है।

इस महाकुंभ में सभी जांगिड़, सुथार, जांगड़ा, बढ़ई, धीमान, विश्वकर्मा, रामगढ़िया, पांचाल सहित समाज के हजारों लोग शामिल हो रहे हैं। प्रदेश के अलग-अलग जिलों से समाज के पदाधिकारी शिरकत कर रहे हैं।