नापासर टाइम्स ।हिंदू धर्म में शिवरात्रि का त्योहार धूमधाम के साथ मनाया जाता है. इसके अलावा, शिवरात्रि हर माह भी मनाई जाती है. प्रत्येक माह कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी को मासिक शिवरात्रि का व्रत रखते हैं. हिंदू धर्म में मासिक शिवरात्रि के दिन भगवान शिव की पूजा का विधान है. इस दिन व्रत रखने के साथ भगवान शिव का पूजा अभिषेक करना बहुत ही शुभ माना जाता है. मासिक शिवरात्रि का व्रत करने से भगवान भोलेनाथ की कृपा प्राप्त होती है. भोपाल निवासी ज्योतिषी एवं वास्तु विशेषज्ञ पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा से जानते हैं चैत्र माह की शिवरात्रि का शुभ मुहूर्त, महत्व और उसकी पूजन विधि.
*मासिक शिवरात्रि 2023 शुभ मुहूर्त*
हिंदू पंचांग के अनुसार, चैत्र मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि का शुभारंभ 20 मार्च को प्रातः काल 04 बजकर 55 मिनट पर होगा और इसका समापन 21 मार्च को रात में 01 बजकर 47 मिनट पर हो जाएगा. मासिक शिवरात्रि के दिन 24:00 में भगवान शिव की पूजा करने का विधान है. इस दिन पूजा का मुहूर्त रात्रि 11:54 से रात में 12:52 के बीच में रहेगा.
*शिवरात्रि का महत्व*
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, शिवरात्रि भगवान शिव का प्रिय दिन है. इस दिन सच्ची श्रद्धा से भगवान शिव की विधि पूर्वक पूजा करने से वे प्रसन्न होकर अपने भक्तों के सारे कष्ट दूर करते हैं. शिवरात्रि का व्रत करने से जीवन में सुख-समृद्धि आती है और सकारात्मकता का संचार होता है. वहीं, आप यदि अपनी समस्याओं से मुक्ति पाना चाहते हैं तो शिवरात्रि के दिन शिवलिंग का रुद्राभिषेक करना आपके लिए बहुत शुभ होगा.
*मासिक शिवरात्रि पूजा विधि*
-मासिक शिवरात्रि के दिन सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नानादि करके भगवान शिव के साथ माता पार्वती की पूजा करें.-फिर शिवजी के समक्ष पूजा में दीप प्रज्ज्वलित कर दें.-घर में शिवलिंग है तो दूध, गंगाजल से शिवलिंग का अभिषेक अवश्य करें.-शिवलिंग पर बेलपत्र, धतूरा आदि चीजों को अर्पित करें.-पूजा करते समय ‘ओम नमः शिवाय’ मंत्र का उच्चारण करते रहें.-अंत में भगवान शिव को भोग लगाएं और आरती करें.